श्री अष्टावक्र महागीता अध्याय आठवा

अष्टावक्र गीता अध्याय आठवा | Ashtavakra Geeta Adhyay 8

अष्टावक्र उवाच ॥

तदा बन्धो यदा चित्तं किञ्चिद् वाञ्छति शोचति ।
किञ्चिन् मुञ्चति गृह्णाति किञ्चिद्धृष्यति कुप्यति ॥ ८-१॥

तदा मुक्तिर्यदा चित्तं न वाञ्छति न शोचति ।
न मुञ्चति न गृह्णाति न हृष्यति न कुप्यति ॥ ८-२॥

तदा बन्धो यदा चित्तं सक्तं कास्वपि दृष्टिषु ।
तदा मोक्षो यदा चित्तमसक्तं सर्वदृष्टिषु ॥ ८-३॥

यदा नाहं तदा मोक्षो यदाहं बन्धनं तदा ।
मत्वेति हेलया किञ्चिन्मा गृहाण विमुञ्च मा ॥ ८-४॥


अष्टावक्र गीता


अष्टावक्र गीता अध्याय पहिला | Ashtavakra Geeta Adhyay 1
अष्टावक्र गीता अध्याय दुसरा | Ashtavakra Geeta Adhyay 2
अष्टावक्र गीता अध्याय तिसरा | Ashtavakra Geeta Adhyay 3
अष्टावक्र गीता अध्याय चौथा | Ashtavakra Geeta Adhyay 4
अष्टावक्र गीता अध्याय पाचवा | Ashtavakra Geeta Adhyay 5
अष्टावक्र गीता अध्याय सहावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 6
अष्टावक्र गीता अध्याय सातवा | Ashtavakra Geeta Adhyay 7
अष्टावक्र गीता अध्याय नववा | Ashtavakra Geeta Adhyay 9
अष्टावक्र गीता अध्याय दहावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 10
अष्टावक्र गीता अध्याय अकरावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 11
अष्टावक्र गीता अध्याय बारावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 12
अष्टावक्र गीता अध्याय तेरावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 13
अष्टावक्र गीता अध्याय चौदावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 14
अष्टावक्र गीता अध्याय पंधरावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 15
अष्टावक्र गीता अध्याय सोळावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 16
अष्टावक्र गीता अध्याय सतरावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 17
अष्टावक्र गीता अध्याय अठरावा | Ashtavakra Geeta Adhyay 18
अष्टावक्र गीता अध्याय एकोणीसवा | Ashtavakra Geeta Adhyay 19
अष्टावक्र गीता अध्याय विसावा  | Ashtavakra Geeta Adhyay 20

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